केन्द्रीय मंत्री ने तमिल नाडु के श्रीपेरंबदूर में 155 करोड़ की अनुमानित लागत से बनने वाले 100 बिस्तरों वाले ईएसआईसी अस्पताल की आधारशिला रखी। और इसमें सामान्य चिकित्सा, जिसमें बाल रोग, आपातकालीन, गंभीर देखभाल / गहन देखभाल (आईसीयू), एनेस्थीसिया, नेत्र विज्ञान, ,सामान्य सर्जरी, प्रसूति एवं स्त्री रोग की सुविधा होगी, जिसमें बाल रोग, आपातकालीन, गंभीर देखभाल / गहन देखभाल (आईसीयू), एनेस्थीसिया, नेत्र विज्ञान, त्वचाविज्ञान वेनेरोलॉजी (स्किन एंड वीडी), (ईएनटी), पल्मोनोलॉजी एंड डेंटिस्ट्री भी शामिल हैं।

मंत्री महोदय ने कहा कि तमिलनाडु में  ईएसआईसी  38.26 लाख बीमित व्यक्तियों और लगभग 1.48 करोड़ लाभार्थियों की चिकित्सा आवश्यकताओं को पूरा कर रहा है।

उन्होंने कहा कि हमारे पास केके नगर, चेन्नई में ईएसआईसी का एक कॉलेज भी है जिसमें सभी आधुनिक सुविधाएं हैं। प्रति वर्ष 125 एमबीबीएस छात्रों को इस कॉलेज में प्रवेश मिलता है। इनमें से 25 सीटें समाज के कम वेतन पाने वाले श्रमिकों के वर्ग के बच्चों के लिए आरक्षित हैं।

उन्होंने आगे कहा कि  “आज श्रम और रोजगार मंत्रालय, “श्रमेव जयते” की भावना के साथ काम करता है, चाहे वह चार श्रम संहिता हों  अथवा श्रमिकों के लिए सामाजिक सुरक्षा सुनिश्चित करने की दिशा में, या ई-श्रम कार्ड लॉन्च होने के केवल 8 महीनों में 28 करोड़ असंगठित श्रमिकों को पहचान देने की दिशा में कार्य करना हो। उन्होने ने कहा कि उन्हें यह भी  बताया गया है, अकेले तमिलनाडु में असंगठित क्षेत्र के लगभग 75 लाख श्रमिकों के पास अब ई-श्रम कार्ड है।

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