दैनिक जागरण के अनुसार

रोजगार सृजन व आवागमन आसान बनाने के लिए आत्म निर्भर बिहार के तहत सरकार यह नवाचार करने जा रही है। यही नहीं, आने वाले दिनों जहां नई सड़क का विकल्प उपलब्ध नहीं होगा वहां थाना, प्रखंड व अनुमंडलों को जोडऩे वाली मुख्य सड़कों की चौड़ाई बढ़ाने का मसौदा सरकार तैयार करा रही है। ग्रामीण कार्य विभाग को यह जिम्मेदारी दी गई है।

दरअसल, सरकार गांवों से शहरों की तरफ तेजी से बढ़ रहे पलायन को बेहतर सुविधा के जरिए गांवों में थामने की कोशिश में जुट गई है। इसी उद्देश्य के तहत आत्म निर्भर बिहार की परिकल्पना की गई है। आत्म निर्भर बिहार के जरिए गांवों में रोजगार सृजन को बढ़ावा देने के लिए योजनाएं तैयार करा रही है। स्वरोजगार पर सरकार का सर्वाधिक जोर दे रही है।

पहल को अमलीजामा पहनाने के लिए सरकार संसाधन और सुविधाओं को लेकर तमाम विकल्प पर काम कर रही है। इसी के तहत सरकार नवाचार करने जा रही है। सरकार को इस पहल के जमीन पर उतरने के बाद विकास दर तेजी से बढऩे का अनुमान है। सुलभ संपर्कता योजना तहत प्रमुख अस्पताल, राज्य उच्च पथ, राष्ट्रीय उच्च पथों को जोडऩे के लिए भी नई सड़कें बनेंगी।

ग्रामीण कार्य विभाग के मंत्री विजय चौधरी ने कहा कि सरकार गांवों को शहर जैसी सुविधा मुहैया कराकर विकसित बिहार बनाने पर काम कर रही है। थानों, प्रखंड व अनुमंडल मुख्यालयों के साथ प्रमुख छोटे शहरों को आबादी के हिसाब से यातायात के दबाव को कम करने के लिए वैकल्पिक सड़क बनाने की योजना है।

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