10 पॉइन्टर के अनुसार
राइबल टीबी इनिशिएटिव 18 चिन्हित राज्यों में 161 जिलों पर ध्यान केंद्रित करेगा। इसमें शामिल होंगे- बेहतर भेद्यता मानचित्रण तकनीकों को तैनात करना ,स्वयंसेवकों के लिए संवेदीकरण और क्षमता निर्माण कार्यशालाओं का संगठन, समय-समय पर टीबी सक्रिय खोज ड्राइव, पहचान की गई कमजोर आबादी के लिए टीबी निवारक चिकित्सा (आईपीटी) का प्रावधान, भेद्यता में कमी के लिए दीर्घकालिक तंत्र का विकास।
इसमे जनजातीय मामलों के स्वास्थ पोर्टल को जोड़ना भी शामिल था। यह टीबी के डेटा संकलन को बढ़ावा देने में मदद करेगा और कुशल और अभिसरण कार्यों के लिए मार्ग प्रशस्त करेगा। भारत ने 2025 तक तपेदिक (टीबी) के पूर्ण उन्मूलन के लिए एक लक्ष्य निर्धारित किया है जो 2030 के वैश्विक लक्ष्य से पांच साल आगे है। सरकार ने पिछले 5 वर्षों में टीबी के लिए बजट आवंटन में चार गुना वृद्धि की है। उच्च गुणवत्ता वाली दवाएं, डायग्नोस्टिक्स, डिजिटल पहल, अभिनव निजी क्षेत्र के हस्तक्षेप और सामुदायिक सहभागिता हस्तक्षेप।
जम्मू-कश्मीर के लक्षद्वीप और बडगाम जिले में यूटी को विश्व टीबी दिवस पर टीबी मुक्त घोषित किया गया है। यह टीबी से होने वाली मौतों को 95% तक कम करने और 2015 से 2035 के बीच 90% तक नए मामलों में कटौती के लक्ष्य के साथ वैश्विक टीबी महामारी को समाप्त करने का लक्ष्य है। , और यह सुनिश्चित करता है कि टीबी के कारण कोई भी परिवार भयावह खर्चों से बोझिल न हो।