भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) ने नागपुर में मल्टी मॉडल लॉजिस्टिक पार्क (एमएमएलपी) विकसित करने के लिए मेसर्स डेल्टाबल्क शिपिंग इंडिया प्रा. लिमिटेड के एक एसपीवी मेसर्स डीसी मल्टी मॉडल पार्क (नागपुर) लिमिटेड के साथ एक समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं। एमएमएलपी को 673 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत पर सार्वजनिक निजी भागीदारी मॉडल के तहत 150 एकड़ क्षेत्र में विकसित किया जाएगा। यह परियोजना पीएम गति शक्ति राष्ट्रीय मास्टर प्लान के तहत महाराष्ट्र में पहली एमएमएलपी बनने की ओर अग्रसर है। यह एमएमएलपी देश के विकास में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि साबित होगी।
एमएमएलपी को तीन चरणों में विकसित किया जाएगा। पहला चरण 137 करोड़ रुपये के निवेश से दो साल में पूरा होने की उम्मीद है। एमएमएलपी 45 वर्षों की दीर्घकालिक अवधि में लगभग 9.47 मिलियन मीट्रिक टन (एमएमटी) कार्गो को पूरा करेगा और नागपुर, वर्धा, चंद्रपुर और गोंदिया जैसे जलग्रहण क्षेत्र में औद्योगिक क्षेत्रों को अत्यधिक बढ़ावा देगा। इससे रोजगार के बहुत-से अवसर पैदा होंगे और क्षेत्र में आर्थिक विकास होगा।
एमएमएलपी को महाराष्ट्र के वाधा जिले में सिंदी (रेलवे स्टेशन के पास) में विकसित किया जाएगा। यह स्थल रणनीतिक रूप से एक तरफ नागपुर-मुंबई महा-समृद्धि महामार्ग और दूसरी तरफ हावड़ा-नागपुर-मुंबई रेल लाइन से लगभग 3 किमी की दूरी पर स्थित है। हावड़ा-नागपुर-मुंबई रेल लाइन पर सिंदी रेलवे स्टेशन से 3.0 किमी लंबी रेल साइडिंग का काम काफी हद तक पूरा हो चुका है। एमएमएलपी को चार लेन नागपुर-औरंगाबाद, एनएच 361 से भी पहुंच प्रदान की जा रही है। यह स्थान नागपुर अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे से 48 किमी और नागपुर रेलवे स्टेशन से 56 किमी दूर है।
एनएचएआई की शत-प्रतिशत स्वामित्व वाली कंपनी- नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक्स मैनेजमेंट लिमिटेड (एनएचएलएमएल) और जवाहरलाल नेहरू पोर्ट अथॉरिटी (जेएनपीए) के बीच एक सरकारी एसपीवी- नागपुर एमएमएलपी प्रा. लिमिटेड का गठन हुआ है। जेएनपीए ने एमएमएलपी के विकास के लिए भूमि प्रदान की है और एनएचएलएमएल बाहरी रेल, सड़क कनेक्टिविटी के साथ-साथ पानी और बिजली की आपूर्ति भी कर रहा है।
एमएमएलपी वेयरहाउस, कोल्ड स्टोरेज, इंटरमॉडल ट्रांसफर, कंटेनर टर्मिनलों के लिए हैंडलिंग सुविधाएं, बल्क/ब्रेक-बल्क कार्गो टर्मिनलों के साथ-साथ मूल्य-वर्धित सेवाओं जैसे सॉर्टिंग/ग्रेडिंग और एकत्रीकरण/पृथक्करण क्षेत्र, बांडेड गोदाम और सीमा शुल्क सुविधाएं जैसी सुविधाएं प्रदान करेगा। साथ ही, माल अग्रेषणकर्ताओं व ट्रांसपोर्टरों के लिए कार्यालयों और ट्रक टर्मिनलों जैसी लॉजिस्टिक्स सुविधाओं का समर्थन करता है।
एमएमएलपी का विकास माल ढुलाई की कुल लागत और समय को कम करने, कुशल भंडारण प्रदान करने, माल की ट्रैकिंग और ट्रेसबिलिटी में सुधार लाने में मदद मिलेगी। यह माल ढुलाई की दक्षता में वृद्धि के लिए एक माध्यम से दूसरे माध्यम तक कुशलतापूर्वक माल ढुलाई को सक्षम करके भारतीय लॉजिस्टिक्स क्षेत्र में सुधार के लिए भारत सरकार की एक महत्वपूर्ण पहल है।