एनएलसी इंडिया लिमिटेड (एनएलसीआईएल), कोयला मंत्रालय के तहत एक नवरत्न केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र उपक्रम है। इसने राजस्थान राज्य विद्युत निगम लिमिटेड (आरआरवीयूएनएल) से 810 मेगावाट सौर पीवी परियोजना क्षमता हासिल की है। एनएलसीआईएल ने राजस्थान के बीकानेर जिले की पुगल तहसील में आरआरवीयूएनएल के 2000 मेगावाट अल्ट्रा मेगा सोलर पार्क परियोजना को विकसित करने के लिए दिसम्बर 2022 में आरआरवीयूएनएल द्वारा निकाले गए 810 मेगावाट निविदा की पूरी क्षमता को सफलतापूर्वक हासिल कर लिया है। इस परियोजना का आशय-पत्र आरआरवीयूएनएल द्वारा जारी कर दिया गया है। यह उपलब्धि स्वच्छ और टिकाऊ ऊर्जा समाधानों के लिए एनएलसीआईएल की प्रतिबद्धता को दर्शाने वाला एक महत्वपूर्ण कदम है।
इस परियोजना के लिए भूमि और एसटीयू से जुड़ी बिजली निकासी प्रणाली आरवीयूएनएल द्वारा उपलब्ध कराई जाएगी, जिससे इस परियोजना को कम अवधि में पूरा करने का मार्ग प्रशस्त होगा। इस कंपनी द्वारा विकसित की जाने वाली यह सबसे बड़ी नवीकरणीय परियोजना है। इस परियोजना से राजस्थान में विद्युत परियोजना की क्षमता 1.36 गीगावॉट हो जाएगी, जिसमें 1.1 गीगावॉट ग्रीन पावर शामिल है, जिससे पैमाने और अनुकूलित निर्धारित लागत की अर्थव्यवस्थाएं उपलब्ध होंगी।
राजस्थान में अच्छे सौर विकिरण को ध्यान में रखते हुए इस परियोजना के लिए उच्च सीयूएफ संभव है, जिससे 50 बिलियन यूनिट से अधिक हरित ऊर्जा पैदा होगी और इस परियोजना के जीवन काल के दौरान 50,000 टन से अधिक कार्बन डाइऑक्साइड का कम उत्सर्जन होगा।
वर्तमान में यह कंपनी खनन भूमि पर 50 मेगावाट सौर परियोजना, अखिल भारतीय आधार पर सीपीएसयू योजना के तहत 200 मेगावाट सौर परियोजना, बीकानेर जिले के बारसिंगसर में सीपीएसयू योजना के तहत 300 मेगावाट सौर परियोजना और गुजरात के भुज जिले में खावड़ा सौर परियोजना में 600 मेगावाट सौर परियोजना स्थापित कर रही है।
इस कंपनी के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक श्री प्रसन्न कुमार मोटूपल्ली ने बताया कि यह कंपनी एक गीगावॉट आरई क्षमता को स्थापित करने वाला पहला केन्द्रीय सार्वजनिक क्षेत्र उपक्रम है। एनएलसीआईएल वर्तमान में इस परियोजना सहित देश में 2 गीगावॉट आरई क्षमता विकसित कर रही है और इसका लक्ष्य भारत सरकार की प्रतिबद्धता के अनुरूप 2030 तक 6 गीगावॉट आरई क्षमता से अधिक अर्जित करना है, ताकि इसकी आरई क्षमता में अभिवृद्धि हो सके।