प्रधानमंत्री ने अहमदाबाद के सिविल अस्पताल असरवा में 1275 करोड़ रुपये की विभिन्न स्वास्थ्य सुविधाओं का लोकार्पण और शिलान्यास किया। उन्होने  ने कहा कि जब समग्र दृष्टिकोण के साथ पूरे दिल से प्रयास किए जाते हैं, तो उनके परिणाम समान रूप से बहुआयामी होते हैं और यही सफलता का मंत्र है।

नए सिविल अस्पताल असरवा के बारे में उन्होने ने कहा कि यह देश का पहला सरकारी अस्पताल होगा जहां साइबर-नाइफ जैसी अत्याधुनिक तकनीक उपलब्ध होगी।  राज्य में स्वास्थ्य क्षेत्र के तेजी से विकास का वर्णन करते हुए, प्रधानमंत्री ने कहा, पिछले 25 वर्षों में गुजरात में सरकारी अस्पतालों में मेडिकल कॉलेजों और बिस्तरों की संख्या में चार गुना वृद्धि हुई है। सरकारी अस्पतालों में कुल बेड लगभग 15 हजार 20-25 साल पहले थे, जो अब बढ़कर 60 हजार हो गए हैं। उन्होंने कहा कि मेडिकल कॉलेजों को भी आज 9 से बढ़ाकर 36 कर दिया गया है। इसी तरह, राज्य में स्नातक चिकित्सा सीटों की कुल संख्या जो बीस साल पहले लगभग 2000 थी, आज 8500 है।

उन्होने ने हृदय की देखभाल के लिए नई और बेहतर सुविधाओं और यूएन मेहता इंस्टीट्यूट ऑफ कार्डियोलॉजी एंड रिसर्च सेंटर में एक नए छात्रावास भवन को समर्पित किया; गुर्दा रोग और अनुसंधान केंद्र संस्थान का नया अस्पताल भवन और गुजरात कैंसर और अनुसंधान संस्थान का एक नया भवन। प्रधान मंत्री ने गरीब मरीजों के परिवारों को समायोजित करने के लिए आश्रय गृहों की आधारशिला भी रखी। उन्होने ने राज्य में विभिन्न स्थानों पर 188 डायलिसिस केंद्र और राज्य भर में 22 स्थानों पर डेकेयर कीमोथेरेपी केंद्रों का भी शुभारंभ किया।

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